दुर्गा पूजा से पहले भूटान का सीमा द्वार खुलने की खबर से जयगाँव के फुटपाथ के दुकानदारों को आशा की किरण दिखी ।
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असितोस कुमार |
इस वर्ष दुर्गा पूजा में परिवार के लिए नए कपड़े लिये जाएँगे यह कहना है भारत भूटान सीमावर्ती शहर जयगाँव के फुटपाथ के दुकानदारों का। कोरोना काल के आरम्भ से ही भारत का पड़ोसी मित्र देश भूटान ने अपनी सीमा द्वार आवाजाही के लिए बंद कर दिया था। इधर ढाई वर्ष बाद 23 सेप्टेम्बर से वापस यह सीमा द्वार भूटान के द्वारा खोला जा रहा है। इधर ढाई वर्ष बाद खुल रहे सीमा गेट से भारत के जयगाँव और भूटान दोनों ओर के लोग खुश हैं। भूटान गेट खुलने की खबर से सबसे खुश फुठपाथ के दुकानदार हैं।
जयगाँव के भगतसिंह नगर के रहने वाले असितोष कुमार ने कहा कि वह एक छात्र हैं और वर्तमान में माध्यमिक की पढ़ाई कर रहे है। उन्होंने कहा कि लॉकडाउन से पहले उनके पिता भूटान में काम करते थे और सब कुछ ठीक चल रहा था मगर कोरोना ने सब तबाह कर दिया है । भूटान गेट बंद होने के बाद खाने पर आफत आ गई और अब वह खुद फुटपाथ पर सब्जी बेचकर किसी तरह घर का खर्च निकाल रहे हैं। उन्होंने कहा कि अब 23 सेप्टेम्बर को भूटान गेट खुल रहा है जिसके साथ ही लोगो का खुशहाली वापस आएगा ऐसा प्रतीत हो रहा है।
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रीता राय |
जयगाँव के सुबाशपल्ली की रहने वाली रीता राय ने कहा कि काफी मुश्किल से एक मोबाइल दुकान खोला था वह भी इस कोरोना काल में बंद हो गया है। पहले एक वक्त था जब पूजा आते ही मन में उत्साह हो जाया करता था और नए नए कपड़े की खरीदारी की जाती थी मगर लॉक डाउन में पुराने कपड़े पहन ही पूजा काटा गया है अब जब भूटान गेट खुल रहा है तो उम्मीद की एक किरण फिर जग रही है और अब सब कुछ ठीक रहा तो पूजा में नए कपड़े भी पहने जाएँगे।
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संतोष कुमार साह |
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गीता बर्मन |
इधर इस्तानीय फुटपाथ में चाय बेचने वाली महिला गीता बर्मन ने कहा की कोरोना काल में गेट बंद रहने से अधिकांश लोग पलायन कर चुके हैं जिस वजह से व्यापार तो बिलकुल खराब है। इसमें बच्चों के पढ़ाई , बच्ची के शादी वह भी बच्चों के पिता के साये के बिना करना काफी समस्या हुई। उन्होंने कहा कि अब जब भूटान गेट खुलने जा रहा है तो लोग वापस आएँगे और जयगाँव में रौनक आएगी ऐसा लग रहा है।